8th Pay Commission: नए वेतन आयोग को लेकर बीते कुछ महीनों से केंद्रीय कर्मचारियों और पेंनशनर्स के मन में कई तरह के सवाल खड़े हो रहे थे। जिसमे एक था ओल्ड पेंशन स्कीम, पेंशनर्स और कर्मचारी लगातार यह मांग उठा रहे थे कि 8th पे कमीशन में दुबारा ओपीएस यानि ओल्ड पेंशन स्कीम को लाना चाहिए। मालूम हो कि 2004 में ओपीएस को हटा दिया गया था। वहीं अब इसे लेकर संसद में वित्त मंत्री ने बड़ा खुलासा कर दिया है कि ओपीएस लागू होगा या नहीं। चलिए आपको बताते है इससे जुड़ी सभी अहम जानकारी।
ओपीएस पर वित्त मंत्री ने कर दिया बड़ा खुलासा
संसद में विपक्षी सांसदों की तरफ से यह सवाल पूछा गया था कि क्या क्या सरकार राष्ट्रीय पेंशन प्रणाली (एनपीएस) और एकीकृत पेंशन योजना (यूपीएस) को समाप्त करके अपने कर्मचारियों के लिए पुरानी पेंशन योजना (ओपीएस) लागू करने का प्रस्ताव करती है? यदि हां, तो इसकी समयसीमा क्या होगी, और यदि नहीं, तो इसके कारण क्या होंगे?
इसपर वित्त मंत्री ने जवाब देते हुए कहा था कि राष्ट्रीय पेंशन प्रणाली (एनपीएस) या एकीकृत पेंशन योजना (यूपीएस) के अंतर्गत आने वाले केंद्र सरकार के कर्मचारियों के लिए पुरानी पेंशन योजना (ओपीएस) को बहाल करने का कोई प्रस्ताव सरकार के विचाराधीन नहीं है। यानि आसान भाषा में कहे तो सरकार ओपीएस पर किसी प्रकार का विचार नहीं कर रही है।
इन राज्यों में शुरू की गई ओल्ड पेंशन स्कीम
वित्त मंत्रालय की तरफ से दी जानकारी के अनुसार राजस्थान, छत्तीसगढ़, झारखंड, पंजाब और हिमाचल प्रदेश की राज्य सरकारों ने पेंशन निधि विनियामक एवं विकास प्राधिकरण (पीएफआरडीए) को अपने राज्य कर्मचारियों के लिए पुरानी पेंशन योजना (ओपीएस) को पुनः शुरू करने के अपने निर्णय की जानकारी दी है। मालूम हो कि ओपीएस के तहत पेंशन के लिए कर्मचारी के वेतन से कोई कटौती नहीं होती थी। इस योजना के तहत GPF (General Provident Fund) की सुविधा भी उपलब्ध थी। रिटायरमेंट पर GPF के ब्याज पर किसी प्रकार का इनकम टैक्स नहीं लगता था। पुरानी पेंशन योजना एक सुरक्षित पेंशन योजना है, इसमें भुगतान सरकार की ट्रेजरी के माध्यम से किया जाता था। इस योजना में रिटायरमेंट के समय अंतिम बेसिक सैलरी के 50 फीसदी तक निश्चित पेंशन मिलती थी।
