Himanta Biswa Sarma: चीन में दो राष्ट्राध्यक्षों के बीच हुई बैठक में भारत का जिक्र होना, सभी के लिए खटक का विषय बन गया है। ये राष्ट्राध्यक्ष कोई और नहीं, बल्कि चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग और बांग्लादेशी अंतरिम सरकार चीफ मोहम्मद यूनुस हैं। Mohammed Yunus ने चीन यात्रा के दौरान भारत के पूर्वोत्तर राज्यों (7 सिस्टर्स) का जिक्र कर नई बहस को जन्म दिया है। सवाल है कि क्या यूनुस ISI और चीन की कठपुतली बन कर रह गए हैं? असम सीएम हिमंता बिस्वा सरमा ने चीन और Bangladesh के साझा एजेंडो को समझते हुए ईंट का जवाब पत्थर से देने की प्लानिंग पेश की है। Himanta Biswa Sarma ने एक लंबा-चौड़ा पोस्ट साझा कर पूर्वोत्तर में मजबूत रेलवे और सड़क नेटवर्क विकसित कर 7 Sisters को संरक्षित करने की योजना बनाई है। असम सीएम ने इशारों-इशारों में भारत सरकार से खास गुहार लगाते हुए अपना पक्ष रखा है।
भारत के ‘7 सिस्टर्स’ पर Mohammed Yunus के दिए बयान पर भड़के Himanta Biswa Sarma
असम सीएम हिमंता बिस्वा सरमा का कहना है कि “बांग्लादेश की तथाकथित अंतरिम सरकार के मोहम्मद यूनुस द्वारा दिया गया बयान, जिसमें उन्होंने पूर्वोत्तर भारत के 7 सिस्टर्स राज्यों को भूमि से घिरा हुआ बताया और बांग्लादेश को उनके समुद्री पहुंच के संरक्षक के रूप में पेश किया, वो अपमानजनक और निंदा योग्य है। यह टिप्पणी भारत के रणनीतिक “चिकन नेक” कॉरिडोर से जुड़ी लगातार भेद्यता की कहानी को रेखांकित करती है। ऐतिहासिक रूप से, भारत के भीतर के आंतरिक तत्वों ने भी पूर्वोत्तर को मुख्य भूमि से भौतिक रूप से अलग करने के लिए इस महत्वपूर्ण मार्ग को काटने का ख़तरनाक सुझाव दिया है।”
सीएम Himanta Biswa Sarma का सुझाव है कि “चिकन नेक कॉरिडोर के नीचे और उसके आसपास और भी मजबूत रेलवे और सड़क नेटवर्क विकसित किए जाएं। इसके अलावा, चिकन नेक को प्रभावी ढंग से बायपास करते हुए पूर्वोत्तर को मुख्य भूमि भारत से जोड़ने वाले वैकल्पिक सड़क मार्गों की खोज को प्राथमिकता दी जानी चाहिए। हालाँकि यह महत्वपूर्ण इंजीनियरिंग चुनौतियों का सामना कर सकता है, लेकिन दृढ़ संकल्प और नवाचार के साथ इसे प्राप्त किया जा सकता है। Mohammed Yunus के ऐसे भड़काऊ बयानों को हल्के में नहीं लिया जाना चाहिए, क्योंकि वे गहरे रणनीतिक विचारों और लंबे समय से चले आ रहे एजेंडे को दर्शाते हैं।” असम सीएम हिमंता बिस्वा सरमा के भाव से स्पष्ट है कि वो पूर्वोत्तर में बांग्लादेश के मंसूबों पर पानी फेरने की योजना बना रहे हैं।
क्या China और ISI की कठपुतली बन गए Mohammed Yunus?
ये सवाल इसलिए भी उठ रहे हैं क्योंकि मोहम्मद यूनुस का हर कदम संदेह भरा होता है। यदि ऐसा नहीं होता, तो भला चीन में जाकर बांग्लादेशी अंतरिम सरकार के मुखिया ने भारत के 7 सिस्टर्स का जिक्र क्यों किया। इससे पहले पाकिस्तानी आईएसआई के अधिकारियों का दौरा भी ढ़ाका में हुआ था। वहीं बांग्लादेश में हिंदू अल्पसंख्यकों पर हमले भी कई संभावनाओं की ओर संकेत दे रहे हैं। यही वजह है कि अब जब असम सीएम Himanta Biswa Sarma ने मोहम्मद यूनुस को एक्सपोज किया है, तो उनके तार चीन और आईएसआई से जुड़ रहे हैं और गंभीर सवाल उठ रहे हैं।