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बंगाल की खाड़ी में America की सक्रियता! Bangladesh के मिलिट्री बेस से Myanmar को अलग-थलग करने की साजिश; रिपोर्ट पढ़ माथा चकराएगा

Bangladesh Myanmar News: ढ़ाका में अमेरिकी अधिकारियों की उपस्थिति कई सवालों को जन्म दे रही है। खबर है कि बंगाल की खाड़ी में अमेरिका की बढ़ती सक्रियता म्यांमार के लिए अच्छे संकेत नहीं है। गृहयुद्ध की मार झेल रहे म्यांमार पर इसके नकारात्मक असर पड़ सकते हैं।

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Bangladesh Myanmar News
Picture Credit: गूगल (सांकेतिक तस्वीर)

Bangladesh Myanmar News: दूर देश में बैठे सैनिक भारत के पड़ोसी बांग्लादेश पर नजर जमाए हुए हैं। कथित रूप से ये सब कुछ हो रहा है कि मोहम्मद यूनुस के सह से। खबर है कि अमेरिका की नजर अब म्यांमार को अलग-थलग करने पर है। इसी कड़ी में अमेरिकी अधिकारी ढ़ाका पहुंचकर Myanmar के लिए योजना बना रहे हैं। बंगाल की खाड़ी में America की बढ़ती सक्रियता कईयों के लिए असहज करने वाली बात है। नॉर्थ इस्ट न्यूज की एक रिपोर्ट के मुताबिक एक आपूर्ति मिलिट्री बेस साइट का इस्तेमाल म्यांमार के रखाइन में जारी संघर्ष में किए जाने की योजना बन रही है। Bangladesh Myanmar News से जुड़े इस दावे ने सनसनी से मचा रखी है। यदि ऐसा सचमुच हुआ, तो गृहयुद्ध की मार झेल रहा म्यांमार अलग-थलग हो सकता है।

Bangladesh के आपूर्ति मिलिट्री बेस से Myanmar को अलग-थलग करने की साजिश!

बंगाल की खाड़ी में अमेरिकी की दखल तेजी से बढ़ी है। इसी बीच खबर है कि कुछ अमेरिकी अधिकारी भी ढ़ाका में हैं जो रखाइन राज्य को म्यांमार से अलग करने की चर्चा कर रहे हैं। इसके लिए सिलखाली में स्थित मिलिट्री बेस का इस्तेमाल किया जाना है, जो कि बांग्लादेश की सेना तोपखाने और हथियारों की सप्लाई के लिए इस्तेमाल करती है। खबर है कि यहीं से अब सीमा पार म्यांमार में आपूर्ति पहुंचाई जाएगी। बांग्लादेश के वरिष्ठ सैन्य अधिकारियों का इस जगह का दौरा करना, ऐसे दावों को और बल देता है। नॉर्थ इस्ट न्यूज की रिपोर्ट के मुताबिक इस मिलिट्री साइट पर अभी निर्माण नहीं शुरू हुआ है, लेकिन अमेरिकी प्रभारी सुजैन स्टीवेन्सन व अन्य अधिकारियों की ढ़ाका में उपस्थिति इस बात का संकेत है कि निर्माण कार्य को जोर दिया जा सकता है।

अमेरिकी योजना का म्यांमार पर क्या होगा असर?

कथित रूप से प्रकाशित की जा रही है रिपोर्ट में कितनी सत्यता है इसकी नाम मात्र तसदीक भी हम नहीं कर सकते। हालांकि, ये स्पष्ट है कि यदि नॉर्थ इस्ट न्यूज की रिपोर्ट के मुताबिक अमेरिका अपने मंसूबे में कामयाब होता है, तो ये म्यांमार के लिए अच्छा संकेत नहीं है। ऐसे स्थिति में Myanmar का राज्य रखाइन इससे अलग हो सकता है। ऐसे में ढ़ाका में बैठकर रणनीति बना रहे अमेरिका के मंसूबे निश्चित रूप से म्यांमार को और कमजोर कर सकते हैं।

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