Delhi Dehradun Expressway: 200 किलोमीटर से ज्यादा लंबा एक्सप्रेसवे दिल्ली, उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड को कई तरह से फायदा पहुंचा सकता है। हम यहां पर दिल्ली देहरादून एक्सप्रेसवे की बात कर रहे हैं। दिल्ली-एनसीआर के साथ ही यूपी और उत्तराखंड के लोगों को भी इस एक्सप्रेसवे के खुलने का बेसब्री से इंतजार है। मगर NHAI यानी भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण के सामने एक बड़ी दिक्कत आ सकती है। दरअसल, सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स यानी ट्विटर पर एक यूजर ने दावा किया है कि दिल्ली देहरादून ग्रीनफील्ड एक्सप्रेसवे के लिए ली गई जमीन के बदले मुआवजा नहीं मिला है।
Delhi Dehradun Expressway शुरू होने से पहले X यूजर ने किया बड़ा दावा
सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर ‘Mahendra Singh’ नाम के यूजर ने NHAI के आधिकारिक एक्स अकाउंट पर जवाब देते हुए अपनी बात रखी है। एक्स यूजर ‘Mahendra Singh’ ने अपनी पोस्ट में दावा करते हुए कहा, ‘अधिग्रहित भूमि पर निर्माण कार्य शुरू करने से पहले एनएचएआई को भूमि स्वामियों की शिकायतों का समाधान करना चाहिए तथा सुनिश्चित करना चाहिए कि उन्हें मुआवजा दिया जाए। दिल्ली देहरादून ग्रीन फील्ड एक्सप्रेसवे के लिए अधिग्रहित मेरी भूमि का मुआवजा नहीं दिया गया है, परियोजना पूरी होने वाली है।’ 1 मई 2025 को किए गए इस ट्वीट पर खबर लिखे जाने तक 16 व्यूज आ चुके हैं। ऐसे में अगर एक्स यूजर का दावा सही है, तो दिल्ली देहरादून एक्सप्रेसवे शुरू होने में एक बार फिर देरी होने की संभावना है।
दिल्ली देहरादून एक्सप्रेसवे पर क्या है लेटेस्ट स्थिति
मालूम हो कि इससे पहले भी कई मीडिया रिपोर्ट्स में दावा किया गया था कि Delhi Dehradun Expressway शुरू होने में एक घर अड़चन डाल रहा है। हालांकि, एनएचएआई ने इस तरह के दावों को खारिज कर दिया था। मगर अभी भी कई खबरों में बताया जा रहा है कि उस एक घर की वजह से 212 किलोमीटर लंबा दिल्ली देहरादून एक्सप्रेसवे शुरू नहीं हो सका है। इस एक्सप्रेसवे को ग्रीनफील्ड एक्सप्रेसवे के तौर पर विकसित किया गया है।
वहीं, हालिया रिपोर्ट्स की मानें, तो दिल्ली देहरादून एक्सप्रेसवे पर लगभग सारा काम कर लिया गया है। ऐसे में जून के आखिर तक इसे सभी के लिए शुरू किया जा सकता है। फिलहाल एक्सप्रेसवे शुरू होने की कोई आधिकारिक तारीख नहीं बताई गई है। ऐसे में लोगों को थोड़ा और इंतजार करना होगा।