Nitish Kumar: देश के उत्तर-पूर्वी में बसे मणिपुर राज्य में आज बड़ा राजनीतिक घटनाक्रम देखने को मिला है। बिहार चुनाव के लिए जारी उठा-पटक के बीच ही नीतीश कुमार की JDU ने BJP को झटका देते हुए बगावती तेवर आपनाए हैं। नीतीश कुमार की जेडीयू ने सधी चाल चलते हुए मणिपुर सरकार से समर्थन वापस ले लिया है। सवाल ये है कि क्या मुख्यमंत्री Nitish Kumar भीतर ही भीतर कोई योजना बना रहा हैं? क्या बिहार चुनाव से पहले नीतीश कुमार फिर पलटी मारेंगे? JDU चीफ क्या फिर नए खेल के साथ महागठबंधन का दामन थाम सकते हैं? आइए हम आपको इन तमाम सवालों के बारे में विस्तार से बताने की कोशिश करते हैं।
Manipur में Nitish Kumar की पार्टी JDU के बगावती तेवर से मची खलबली
बिहार विधानसभा चुनाव से पहले नीतीश कुमार की JDU ने मणिपुर की बीजेपी सरकार से समर्थन वापस ले लिया है। जेडीयू इकाई के अध्यक्ष के.एस.बीरेन ने राज्यपाल को पत्र सौंपकर इसका ऐलान किया है। नीतीश कुमार की पार्टी के इस एक फैसले ने सियासी गलियारों में खलबली मचा दी है। हालांकि, मणिपुर जेडीयू इकाई ने ऐसा क्यों किया इसको लेकर अभी कोई जानकारी दी गई है। हालांकि, Nitish Kumar के जेडीयू के इस कदम से मणिपुर सरकार पर कोई असर नहीं पड़ेगा। एन बीरेन सिंह की सरकार बहुमत के आंकड़े के पार है। हालांकि, नीतीश कुमार का बगावती तेवर BJP के लिए एक खतरे की घंटी जरूर है। सवाल ये उठ रहे हैं कि केन्द्र और बिहार में सहयोगी नीतीश आखिर क्यों ऐसा फैसला लेने पर मजबूर हुए हैं।
नीतीश कुमार की पार्टी के कदम से क्या Bihar Election से पहले होगा नया खेल?
सियाली गलियारों से लेकर चौक-चौराहों तक इस बात की चर्चा है कि क्या बिहार सीएम एक बार फिर बीजेपी का साथ छोड़ेंगे। बता दें कि हाल-फिलहाल के समीकरण को देखें तो नीतीश कुमार, बीजेपी को छोड़कर नहीं जाते नजर आ रहे हैं। महागठबंधन की ओर से भले ही Nitish Kumar के लिए दरवाजा खुलने की बात कही जा रही हो, लेकिन उनका रुख स्पष्ट है। उन्होंने कई मौकों पर सार्वजनिक रूप से कहा है कि JDU मजबूती से बीजेपी के साथ खड़ी है।
केन्द्र और बिहार का समीकरण मणिपुर से अलग है। ऐसे में बिहार विधानसभा चुनाव से पहले नया खेला होगा और JDU, बीजेपी का साथ छोड़ेगी, इसकी संभावना न के बराबर है। हालांकि, सियासत में कोई स्थायी दोस्त या दुश्मन नहीं होता। ऐसे में कब क्या हो जाए, भला किसे पता। फिलहाल सबकी निगाहें मुख्यमंत्री Nitish Kumar पर टिकी हैं कि वो JDU के इस कदम को लेकर क्या बोलते हैं। उसी के आधार पर भविष्य की राजनीति तय हो सकेगी और बिहार विधानसभा चुनाव के लिए नया माहौल देखने को मिलेगा।