Monday, May 19, 2025
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Sambhal Police Post निर्माण के बीच ‘वक्फ संपत्ति’ दावे को लेकर नया मोड़! अपने ही बिछाए जाल में फंस गए Asaduddin Owaisi?

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Sambhal Police Post: संभल पुलिस पोस्ट की जमीन अब्दुल समद के नाम बताई गई थी। अब अब्दुल समद के परिजनों ने यूपी पुलिस को शपथ पत्र देकर स्पष्ट कर दिया है कि Sambhal Police Post की जमीन हमारी नही है। कथित रूप से जमीन का मालिकाना हक रखने वाले अब्दुल समद के परिजनों द्वारा कही गई इन बातों के बाद Asaduddin Owaisi अपने ही बिछाए जाल में फंसते नजर आ रहे हैं। बता दें कि संभल में निर्माणाधीन पुलिस चौकी को लेकर छिड़े संग्राम के बीच ‘वक्फ संपत्ति’ दावे को लेकर नया मोड़ सामने आ गया है। दरअसल, संभल जामा मस्जिद के बाहर की जिस जमीन को असदुद्दीन ओवैसी व अन्य नेता वक्फ की संपत्ति बता रहे थे, उस जमीन का मालिकाना हक रखने वाले ने बड़ा खुलासा कर दिया है।

Sambhal Police Post निर्माण के बीच ‘वक्फ संपत्ति’ दावे को लेकर नया मोड़!

कागजात पेश कर बीते दिनों दर्शाया गया कि संभल पुलिस पोस्ट जिस जमीन पर बन रहा है वो अब्दुल समद के नाम है। इसके बाद असदुद्दीन ओवैसी का नाम सामने आया जिन्होंनें संभल पुलिस पोस्ट की जमीन को वक्फ की संपत्ति बताई। AIMIM चीफ ने इस संबंध में बकायदा दस्तावेज भी पेश कर दिए थे। हालांकि, अब वो अपने ही बिछाए जाल में फंसते नजर आ रहे हैं। दरअसल, सचिन गुप्ता नामक एक्स हैंडल से एक वीडियो पोस्ट जारी किया है। वीडियो में दावा किया गया है कि Sambhal Police Post के जमीन का मालिकानी हक रखने वाले अब्दुल समद के परिजनों ने पुलिस को शपथ पत्र देकर कहा कि ये जमीन हमारी नहीं है। इससे ये स्पष्ट हो चुका है कि ओवैसी व अन्य नेताओं का दावा सच नहीं था।

संभल हिंसा के बाद आरोप-प्रत्यारोप का दौर जारी!

24 नवंबर को संभल में हुई हिंसा और फिर Sambhal Police Post के निर्माण कार्य को लेकर आरोप-प्रत्यारोप का दौर जारी है। इसी कड़ी में सपा मुखिया अखिलेश यादव ने आज फिर एक यूपी सरकार पर निशाना साधा है। Akhilesh Yadav का कहना है कि “समाजवादी पार्टी का एक प्रतिनिधिमंडल संभल जाकर लोगों से बात करना चाहता था। सरकार ने हमें अनुमति नहीं दी। लेकिन जब सपा के नेता जाना चाहते थे तो पुलिस ने उन्हें इजाजत दे दी। पहली बार में सरकार हमसे क्या छिपाना चाहती थी? वहां लोगों पर दबाव बनाया जा रहा है, फर्जी केस बनाया जा रहा है। अधिकारियों पर किस बात का दबाव है कि वे अलोकतांत्रिक गतिविधियों को अंजाम दे रहे हैं? जो लोग जेल गए उन्हें बुरी तरह पीटा गया। अधिकारियों पर बयान देने के लिए दबाव डाला जा रहा है। ये गलत है और हम न्याय की लड़ाई लड़ते रहेंगे।”

Gaurav Dixit
Gaurav Dixithttp://www.dnpindiahindi.in
गौरव दीक्षित पत्रकारिता जगत के उभरते हुए चेहरा हैं। उन्होनें चौधरी चरण सिंह विश्वविद्यालय से अपनी पत्रकारिता की डिग्री प्राप्त की है। गौरव राजनीति, ऑटो और टेक संबंघी विषयों पर लिखने में रुची रखते हैं। गौरव पिछले दो वर्षों के दौरान कई प्रतिष्ठीत संस्थानों में कार्य कर चुके हैं और वर्तमान में DNP के साथ कार्यरत हैं।

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