Delhi Assembly Election 2025: AAP और BJP कड़ी टक्कर पेश करते हुए अपनी-अपनी दावेदारी को लेकर आश्वत है। हालांकि, समीकरण कई संभावनाओं की ओर से इंगित कर रहे हैं। सवाल उठ रहे हैं कि क्या कांग्रेस Delhi Assembly Election 2025 में किंगमेकर की भूमिका निभा सकती है? क्या ये संभव है कि कभी जिसके इर्द-गिर्द सत्ता की कुंजी घूमी हो, वो पार्टी किंगमेकर की रोल में आएगी? राजधानी के सियासी रण में अपनी-अपनी साख बचाने की जुगत में पार्टियां पूरी ऊर्जा झोंक चुकी है। आज मतपेटिका में दिल्ली की जनता उम्मीदवारों के भविष्य कैद करेगी। दिल्ली एसेंबली इलेक्शन 2025 के लिए जारी मतदान के बाद 8 फरवरी को उम्मीदवारों को भविष्य का फैसला होगा। फिलवक्त हम आपको दिल्ली विधानसभा चुनाव 2025 के लिए जारी मतदान से जुड़े अपडेट सांझा करने के साथ इन तमाम सवालों के जवाब देंगे।
Delhi Assembly Election 2025 सियासी रण में साख बचाने की जुगत में AAP-BJP!
बीजेपी और आम आदमी पार्टी दिल्ली के सियासी रण में साख बचाने की जुगत में जुटी है। दशकों से सत्ता में काबिज AAP, चुनावी माहौल और अपने जनकल्याणकारी नीतियों को लेकर आश्वस्त नजर आ रही है। वहीं दो दशक से ज्यादा समय से दिल्ली की सत्ता से दूर BJP के लिए भी उम्मीदों की लौ धधक रही है। फिलहाल, 5 फरवरी को मतदाता दिल्ली एसेंबली इलेक्शन 2025 के लिए मतदान कर रहे हैं। AAP-BJP के बीच कड़ी टक्कर है, इसमें कोई संदेह नहीं। पर अभी ये कहना कि फला दल Delhi Assembly Election 2025 में बाजी मारेगा, थोड़ी जल्दबाजी होगी। इसमें कोई दोराय नहीं कि AAP और BJP ने अपनी साख बचाने की जुगत में कोई कसर नहीं छोड़ी है, लेकिन परिणाम क्या होगा ये तो 8 फरवरी को ही पता चलेगा।
दिल्ली एसेंबली इलेक्शन में क्या Congress बन सकती है किंगमेकर?
Delhi Assembly Election 2025 में अलका लांबा, संदीप दीक्षित, रागिनी नायक समेत अन्य कई स्थानीय चेहरों की सक्रियता ने चुनाव का माहौल बदला है। अलका लांबा, संदीप दीक्षित, देवेन्द्र यादव जैसे स्थानीय नेताओं की सक्रियता ने कांग्रेस के लिए चुनाव को दिलचस्प बना दिया है। Congress को पास खोने को कुछ नहीं और पाने को सारा जहां है। दरअसल, कांग्रेस 2015 और 2020 में शून्य रही है। पार्टी के नसीब में खाता खोल पाना भी तब मुश्किल रहा। इसके बाद राहुल गांधी, प्रियंका गांधी समेत आला कमान के नेताओं ने भी पार्टी के समर्थन में प्रचार-प्रसार किया है।
दावा किया जा रहा है कि यदि Congress अपने पुराने जनाधार को आकर्षित करने में कामयाब रही, तो चुनाली मंजर बदलेगा। कांग्रेस यदि 10 फीसदी तक, या इससे ज्यादा वोट हासिल करती है तो, इसका असर Delhi Assembly Elections पर पड़ेगा और पार्टी खुद सरकार बनाए या न बनाए, लेकिन किंगमेकर की भूमिका निभा सकती है। ये सारे दावे और कयासबाजियां कितना सत्य साबित होंगे, ये तो 8 फरवरी को मतगणना के साथ ही स्पष्ट हो जाएगा।
लेटेस्ट वोटिंग अपडेट– ECI की ओर से जारी आंकड़ों के मुताबिक सुबह 9 बजे तक कुल 8.10 फीसदी मतदान हुआ है।