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Bleeding During Pregnancy: प्रेग्नेंसी के दौरान ब्लीडिंग हो सकता है खतरनाक, जानिए क्या है कारण?

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Bleeding During Pregnancy: प्रेगनेंसी के दौरान कुछ ब्लीडिंग नुकसानदेह नहीं होती वहीं कुछ खतरनाक भी हो सकते हैं। प्रेगनेंसी के 9 महीने में पीरियड भले ही ना होते हो लेकिन हल्की स्पॉटिंग या ब्लीडिंग हो सकती है, यह बिल्कुल नॉर्मल है। गर्भावस्था के दौरान ब्लीडिंग को लोग मिसकैरेज समझ लेते हैं जोकि हमेशा सच नहीं होता। आइए जानते हैं प्रेगनेंसी के दौरान ब्लीडिंग क्यों होता है?

बिल्डिंग का मतलब मिसकैरेज बिल्कुल नहीं

मां बनना किसी भी औरत के लिए दुनिया का सबसे बड़ा तोहफा है। यह समय किसी भी औरत के लिए उतार-चढ़ाव भरा एक अनोखा एक्सपीरियंस होता है। इस दौरान शरीर के अंदर कई मानसिक और शारीरिक बदलाव आते हैं। जिसे सहन करना कोई आसान बात नहीं है। वहीं जब इसी दौरान यदि किसी महिला को हल्की ब्लीडिंग या स्पॉटिंग होती है तो घबराना लाजमी है। हालांकि इस बिल्डिंग का मतलब मिसकैरेज बिल्कुल भी नहीं है।

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इस समय की ब्लीडिंग हो सकती है खतरनाक

आपको बता दें कि, ऐसे कई केस सामने आए हैं, जिनमें कई महिलाओं को पूरी प्रेगनेंसी के दौरान हल्की ब्लीडिंग या स्पोटिंग होती है। इसके बावजूद भी बहुत हेल्दी बच्चे को जन्म देती हैं। लेकिन प्रेगनेंसी की आखिरी तिमाही में ब्लीडिंग होने पर आपको तुरंत डॉक्टर से कंसल्ट करना चाहिए। आखिरी तिमाही में ज्यादा बिल्डिंग होना खतरनाक हो सकता है। इसका इलाज प्रेगनेंसी की अवधि और बच्चे के स्वास्थ्य पर निर्भर करता है। ऐसे में डॉक्टर आपको बेड रेस्ट करने को कह सकते हैं।

25 परसेंट महिलाओं को होती है स्पॉटिंग

डॉक्टर्स या गाइनेकोलॉजिस्टस् का कहना है कि ,प्रेगनेंसी के पहले तिमाही यानी शुरुआती 3 महीने में हल्की ब्लीडिंग या स्पॉटिंग होना नॉर्मल है। रिपोर्ट के अनुसार करीब 25 प्रतिशत गर्भवती महिलाओं को प्रेगनेंसी के पहले 12 हफ्तों में हल्की ब्लीडिंग होती है। बता दें कि, प्रेगनेंसी के दौरान होने वाली ब्लीडिंग या स्पॉटिंग का रंग और फ्लो पीरियड के दौरान होने वाले ब्लीडिंग से हल्का या डार्क ब्राउन कलर का होता है। ध्यान रहे प्रेगनेंसी के दौरान केवल एक या दो ड्राप ब्लीडिंग ही नॉर्मल होती है। लेकिन इससे अधिक ब्लीडिंग होने पर तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें।

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डिस्क्लेमर: इस आर्टिकल में बताई विधि, तरीक़ों व दावों को केवल जानकारी के रूप में लें। DNP News Network/Website/Writer इनकी पुष्टि नहीं करता है। इस तरह के किसी भी उपचार/दवा/डाइट पर अमल करने से पहले डॉक्टर की सलाह जरूर लें।

Anjali Sharma
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अंजलि शर्मा पिछले 2 साल से पत्रकारिता के क्षेत्र में काम कर रही हैं। अंजलि ने महर्षि दयानंद यूनिवर्सिटी से अपनी पत्रकारिता की पढ़ाई की है। फिलहाल अंजलि DNP India Hindi वेबसाइट में कंटेंट राइटर के तौर पर काम कर रही हैं।

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