Egg Test: अंडे को बड़े ही चाव से लोग कहते हैं लेकिन कई कंपनी इसे लेकर बड़े-बड़े दावे करती है और लोगों को गुमराह करती है। यह हम नहीं बल्कि यूट्यूब चैनल से शेयर किए गए वीडियो में बताया गया कि कैसे फुल लेब टेस्ट करवाने के बाद एंटीबायोटिक और सेफ्टी लेवल्स का पता चला है। यह आपके डीएनए और रिप्रोडक्टिव सिस्टम को रिस्क पर डालता है और कैंसर तक की वजह बन सकता है। पूरे वीडियो को देखने के बाद आपको इसका अंदाजा लग जाएगा। वहीं इस वीडियो को देखकर लोग कंपनी पर सवाल उठाते हुए दिखे हैं। एग टेस्टिंग में एगोज कंपनी को लेकर क्या हुआ खुलासे में।
Egg Test एक्यूरेसी में कैसे हुआ फेरबदल
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दरअसल अंडे लोग खाते तो है लेकिन इसका कोई प्रॉपर ब्रांड नहीं होता। एगोज को लेकर वीडियो में कहा गया कि यहां पर अपने व्हाइट एग में दावा करता है प्रोटीन 13.5 ग्राम का जो कि हमारे लैब टेस्ट के मुताबिक पाया गया 13.39। 0.57 ग्राम/100 ग्राम कार्ब का कंपनी दावा करती है लेकिन ट्रस्टिफाइड के लैब टेस्ट के मुताबिक 1.43 ग्राम कार्ब पाया गया। कंपनी ने 9 ग्राम फैट का दावा किया लेकिन लैब टेस्ट में 8 ग्राम पाया गया।
एंटीबायोटिक से लेकर पेस्टिसाइड्स तक में हो रहा धोखा
एग टेस्ट में हेवी मेटल की टेस्टिंग की गई और कंपनी द्वारा जितना दावा किया गया उससे कम पाया गया। सिर्फ आर्सेनिक सुरक्षित लिमिट के अंदर है। इतना ही नहीं लेवल 3 में पेस्टिसाइड्स की टेस्टिंग कराई गई और सब कम दर्ज किया गया है। इसके अलावा लेवल 4 में माइक्रोबायोलॉजिकल की टेस्टिंग कराई गई जो सभी कंपनी द्वारा दावा किया गए आंकड़े से कम पाई गई है। एंटीबायोटिक की टेस्टिंग कर भी यह कंपनी दावा किए गए आंकड़े से कम पाए गए हैं।
क्यों मुर्गियों को दिया जाता है ये 2 बैन ड्रग
वही एक टेस्ट में 2 ऐसे बैन ड्रग की टेस्टिंग कराई गई जो मुर्गियों के देने के लिए सबसे ज्यादा कानूनी रूप से अवैद्य है। पोल्ट्री बिजनेस में इनका सबसे ज्यादा इलिगली इस्तेमाल किया जाता है। दोनों का नाम नाइट्रोफ्यूरन और नाइट्रोइमिडजोल है। यह दोनों ड्रग्स लगभग सभी देश में बैन है उन सभी जानवरों को देने के लिए जो फूड प्रोड्यूसर है। पोल्ट्री बिजनेस हो या फिर कोई भी और बिजनेस इस ड्रग का इस्तेमाल सबसे ज्यादा इसलिए किया जाता है क्योंकि यह न सिर्फ सस्ता होता है बल्कि या ड्रग देने से मुर्गियों में बैक्टीरिया इन्फेक्शन और डिजीज को कंट्रोल करता है। इसकी वजह से मुर्गियों में अंडे देने की क्षमता बढ़ती है।
कैसे अंडे खाने से बढ़ सकती है बीमारियां
एग टेस्ट से हटके इन ड्रग मेटाबोलाइट में ज्यादा कार्सिनोजेनिक है। इन ड्रग्स का जरा सा भी सेवन हानिकारक माना जाता है। अगर लंबे समय तक यह मानव शरीर में जाता है तो यह उनके डीएनए को डैमेज कर सकता है रिप्रोटेक्टिव और इम्यून सिस्टम को हार्म कर सकता है। यहां तक कि कैंसर जैसी खतरनाक बीमारी पैदा कर सकता है इनकी कोई भी सेफ लिमिट नहीं है। इसका जरा भी पाया जाना खतरा माना जाता है लेकिन जब एगोज में इसकी टेस्टिंग हुई एगोज में नाइट्रोफ्यूरन ड्रग का मेटाबॉलिक पाया गया है। इसकी अच्छी खास मात्रा मिली है।
इतना ही नहीं वेबसाइट पर इस बात का जिक्र किया गया है कि वह अपने सामग्री में एंटीबायोटिक का इस्तेमाल नहीं करते है। इसके साथ 11 सेफ्टी चेक्स भी बताए गए हैं लेकिन एग टेस्ट में जो खुलासे हुए वह लोगों को दंग कर रहे हैं।
Disclaimer: यह लेख और इसमें दी गई चिकित्सीय परामर्श केवल सामान्य जानकारी प्रदान करती है। यह किसी भी तरह से किसी योग्य चिकित्सा राय का विकल्प नहीं है। इस लेख में बताए गए तरीकों और दावों को केवल सुझाव माना जाना चाहिए; डीएनपी इंडिया हिंदी न तो इनकी पुष्टि करता है और न ही खंडन करता है। ऐसे किसी भी सुझाव/उपचार/दवा/आहार का पालन करने से पहले हमेशा डॉक्टर से सलाह लें।






