Tej Pratap Yadav: अंदरखाने चर्चाओं का एक नया दौर शुरू हो चुका है। दावा किया जा रहा है कि BJP यूपी पॉलिटिक्स मॉडल को बिहार में भी अपनाकर समाजवादियों की मुश्किलें बढ़ा सकती है। पूर्व सीएम लालू यादव के सुपुत्र तेज प्रताप यादव के RJD से निलंबन के बाद संभावनाओं के तमाम द्वार खुल रहे हैं। पूछा जा रहा है कि क्या तेज प्रताप यादव बीजेपी के लिए तुरुप का इक्का बनेंगे? इस सवाल के पीछे ढ़ेर सारे तर्क गढ़े जा रहे हैं। यूपी में दिवंगत नेता मुलायम सिंह यादव की बहू अपर्णा यादव का बीजेपी में बने रहना इसका एक ठोस आधार है। ऐसे में बड़ा सवाल है कि Tej Pratap Yadav के निलंबन से जो रायता फैला है उसे कैसे समेटा जाएगा? RJD इस पूरे प्रकरण में कैसे डैमेज कंट्रोल करेगी? तो आइए विस्तार से इन संभावनाओं के बारे में बताते हैं।
BJP के लिए क्या तुरुप का इक्का बनेंगे Tej Pratap Yadav?
सोचिए यदि ऐसा हो जाए तो बिहार में लालू परिवार की कितनी किरकिरी होगी। हालांकि, इसके बारे में हम पुख्ता रूप से कुछ नहीं कह रहे, लेकिन सियासत में भला कुछ असंभव कहां है। अनुष्का यादव के साथ तेज प्रताप यादव का फोटो वायरल होने के बाद उन्हें RJD से 6 वर्षों के लिए निष्कासित किया गया है। बिहार विधानसभा चुनाव 2025 से ठीक पहले आरजेडी की मुश्किलें बढ़ती जा रही हैं। यही वजह है कि यहां BJP की एंट्री को लेकर संभावनाएं जताई जा रही हैं। पूछा जा रहा है कि क्या Tej Pratap Yadav बीजेपी के लिए तुरुप का इक्का बनेंगे। दरअसल, यूपी में देखें तो समाजवादी नेता रहे मुलायम सिंह यादव के परिवार में टूट देखी जा चुकी है।
एक धड़ा जहां पूरी तरह से पूर्व सीएम अखिलेश यादव की अगुवाई में आगे बढ़ रहा है, तो वहीं परिवार छोड़कर आईं मुलायम सिंह यादव की बहू अपर्णा यादव BJP के साथ हैं। बीजेपी ने उन्हें महिला आयोग की कमान भी दे रखी है और समय-समय पर सपा के खिलाफ उन्हें मोर्चा संभालते भी देखा जाता है। इसी फेहरिस्त में यूपी के तर्ज पर Bihar में भी संभावनाओं को द्वार खुल रहे हैं। पूछा जा रहा है कि क्या RJD से निष्कासित होने के बाद Tej Pratap Yadav भी बीजेपी का दामन थाम सकते हैं?
यदि ऐसा हुआ, तो यूपी में सपा के तर्ज पर बिहार में RJD की मुश्किलें भी बढ़ सकती हैं। जहां एक ओर पार्टी विपक्षी दलों को बीजेपी के खिलाफ लामबंद करने में जी-जान से जुटी हैं, वहीं परिवार के सदस्य का खिसकना भारी फजीहत का कारण बन सकता है। हालांकि, अभी अंतिम फैसला भविष्य के गर्भ में है और इसके लिए Tej Pratap Yadav के फैसलों पर नजर रखना ही एक विकल्प है।
तेज प्रताप यादव के निलंबन के बाद RJD कैसे करेगी डैमेज कंट्रोल?
सियासत में दिलचस्पी ले रहे लालू परिवार के लगभग सभी सदस्यों ने तेज प्रताप यादव को पार्टी से निष्कासित करने वाले फैसले का समर्थन किया है। पूर्व सीएम राबड़ी देवी हों या तेजस्वी यादव, मीसा भारती या रोहिणी आचार्य। सभी ने RJD सुप्रीमो लालू यादव के फैसले को सही ठहराया है। कहा जा रहा है कि ये लालू परिवार की स्ट्रैटजी का हिस्सा भी हो सकता है कि मुश्किल भरे इस दौर में Tej Pratap Yadav से दूरी बना ली जाए। हालांकि, कई टिप्पणीकार इसे तेज प्रताप यादव के खिलाफ साजिश भी करार दे रहे हैं। ऐसे में समूचे RJD परिवार के लिए मुश्किलें फिलहाल बढ़ती नजर आ रही हैं। सवाल उठ रहे हैं कि राजद इस पूरे घटनाक्रम के बाद डैमेज कंट्रोल कैसे करेगा? इसके लिए लालू परिवार फ्रंटफुट पर आकर संबंधों से जुड़े फैसले को Tej Pratap Yadav का निजी फैसला बता रहा है।
तमाम उठते सवालों के बीच तेजस्वी यादव, रोहिणी आचार्य, मीसा भारती समेत अन्य सभी सदस्य तेज प्रताप यादव के निजी फैसले को पार्टी से ना जोड़ने की बात कर रहे हैं। ऐसे में ये स्पष्ट है कि बिहार विधानसभा चुनाव से पहले हुए इस प्रकरण में पार्टी इसे निजी फैसला बताकर डैमेज कंट्रोल में जुट गई है। अब देखना दिलचस्प होगा कि निकट भविष्य में RJD क्या रणनीति अपनाती है।