Delhi EV Policy 2.0: यह तो आप जानते ही होंगे कि राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में हर सर्दी के मौसम में प्रदूषण का स्तर काफी खतरनाक हो जाता है। कई बार प्रदूषण का स्तर इतना भयानक हो जाता है कि काफी सारे सही ढंग से सांस भी नहीं ले पाते हैं। इस स्थिति से बचने के लिए सरकार कई तरह के प्रयास करती है। मगर हालिया रिपोर्ट्स में दावा किया गया है कि दिल्ली सरकार दिल्ली ईवी नीति 2.0 के तहत एक खास प्रस्ताव लाने की तैयारी कर रही है। रिपोर्ट्स के मुताबिक, दिल्ली सरकार अगस्त 2026 के बाद दिल्ली में पेट्रोल बाइक और स्कूटर के पंजीकरण पर पाबंदी लगा सकती है। ऐसे में दिल्ली वालों को सिर्फ इलेक्ट्रिक दो पहिया वाहन ही खरीदने होंगे।
Delhi EV Policy 2.0 को लेकर क्या है खास प्लान
अगर देश की राजधानी दिल्ली में दिल्ली ईवी नीति 2.0 अमल में आती है, तो इससे दिल्ली के प्रदूषण के स्तर को कम किया जा सकता है। मगर दिल्ली के लोगों के पास सिर्फ इल्केट्रिक टू व्हीलर खरीदने का ही ऑप्शन रह जाएगा। इतना ही नहीं, दिल्ली सरकार अपने प्रस्ताव में एक अन्य बड़ा अपडेट भी शामिल कर सकती है।
रिपोर्ट्स में दावा किया जा रहा है कि अगर आपके पास पहले से दो कारें हैं, तो आपको तीसरी कार इलेक्ट्रिक सेगमेंट के तहत खरीदनी होगी। रिपोर्ट्स में इस बात पर भी जोर दिया गया है कि सरकार मौजूदा 10 साल से अधिक पुराने सीएनजी ऑटो रिक्शा को इलेक्ट्रिक थ्री व्हीलर में बदलने का प्रस्ताव ला सकती है। सरकार इसके लिए बुनियादी इलेक्ट्रिक ढांचे को मजबूत करने का काम कर रही है।
दिल्ली ईवी नीति 2.0 के तहत किया जाएगा ये काम
कई रिपोर्ट्स में बताया जा रहा है कि Delhi EV Policy 2.0 के तहत सरकार पूरी तरह से इलेक्ट्रिक मोबिलिटी सिस्टम को लागू करना चाहती है। इसके लिए दिल्ली के कई इलाकों में चार्जिंग प्वाइंट को शुरू किया जा सकता है। साथ ही कई मशहूर इमारतों और सार्वजनिक जगहों पर इलेक्ट्रिक चार्जिंग स्टेशन खोले जा सकते हैं। सरकार की योजना है कि साल 2027 तक 95 फीसदी इलेक्ट्रिक मोबिलिटी सिस्टम को अमल में लाया जाए।
इसके अलावा दिल्ली सरकार लोगों के पुराने टू व्हीलर्स को स्क्रैप या फिर इलेक्ट्रिक में बदलने का विकल्प भी दे सकती है। आने वाले समय में सरकार पुराने दो पहिया वाहनों को इलेक्ट्रिक में बदलने के लिए कुछ आर्थिक सहायता भी प्रदान कर सकती है। वहीं, पुराने दो पहिया वाहन को स्क्रैप में बेचने पर कुछ लाभ भी दे सकती है। फिलहाल इस बारे में कोई भी आधिकारिक सूचना नहीं है। ऐसे में दिल्ली ईवी नीति 2.0 के लिए थोड़ा इंतजार करना होगा।