Ganga Expressway: देशभर में तेजी से एक्सप्रेसवे का जाल बिछ रहा है। लेकिन जिस राज्य की सबसे ज्यादा चर्चा है, वह है उत्तर प्रदेश। दरअसल यूपी में विकास कार्यों को तेजी से संपन्न किया जा रहा है। नए-नए एक्सप्रेसवे निर्माण सुचारू रूप से चालू है। इसी बीच अब खबर सामने आ रही है कि सबसे चर्चित और खूबसूरत गंगा एक्सप्रेसवे का काम पूरा हो चुका है, और इसका ट्रायल शुरू करने पर विचार किया जा रहा है। करीब 600 किलोमीटर लंबा ये एक्स्प्रेसवे मेरठ से प्रयागराज को कनेक्ट करेगा। वहीं मात्र 6 घंटे में लगभग 600 किलोमीटर की दूरी पूरी हो सकेगी। इसी बीच सीएम योगी आदित्यनाथ ने पिछली सरकार की पोल खोल दी और बताया कि 2017 से पहले यूपी में क्या हाल था।
Ganga Expressway कई शहरों के लिए साबित होगा गेमचेंजर
बताते चले कि यह गंगा एक्सप्रेसवे मेरठ से होते हुए कई शहरों को पार करेगी और आखिर में यह प्रयागराज पहुंचेगी। इस एक्सप्रेसवे के शुरू होने से मेरठ, हापुड़, बुलंदशहर, अमरोहा, संभल, बदायूं, शाहजहांपुर, हरदोई, उन्नाव, रायबरेली, प्रतापगढ़ समेत कई शहरों में जबरदस्त विकास होने की उम्मीद है। माना जा रहा है कि इससे रोजगार के साथ-साथ व्यवसाय के भी अवसर पैदा होंगे। इसके अलावा एक्सप्रेसवे के आसपास की जमीन के दामों में कई गुणा बढ़ोतरी की उम्मीद है। सबसे खास बात है कि पश्चिमी यूपी की दक्षिणी यूपी से कनेक्टिविटी आसान हो जाएगी और मात्र 6 घंटे में यह सफर पूरा किया जा सकेगा। जिसमे करीब अभी 9 से 10 घंटे का समय लगता है।
सीएम योगी आदित्यनाथ ने पुरानी सरकार की खोली पोल
योगी आदित्यनाथ कार्यालय की तरफ से एक्स हैंडल पर एक पोस्ट शेयर किया गया है। जिसमे लिखा गया है कि 2017 से पूर्व उत्तर प्रदेश की स्थिति किसी से छिपी नहीं थी। देश का यह सबसे बड़ा राज्य अपनी असीम संभावनाओं के बावजूद विकास की दौड़ में पिछड़ रहा था। सड़कें जर्जर थीं, उद्योग ठहर चुके थे, बिजली और परिवहन की स्थिति दयनीय थी। निवेशक प्रदेश का रुख करने से कतराते थे, क्योंकि न तो यहां पर्याप्त कनेक्टिविटी थी, न ही सुरक्षा और सुशासन का वातावरण। वर्ष 2017 में डबल इंजन की सरकार ने प्रदेश की बागडोर संभाली। मुख्यमंत्री श्री सीएम योगी आदित्यनाथ जी महाराज के नेतृत्व में प्रदेश को नई दिशा और गति मिली।
‘सशक्त इंफ्रास्ट्रक्चर ही विकसित उत्तर प्रदेश की रीढ़ है’, इस मंत्र को ध्येय बनाकर योगी सरकार ने योजनाबद्ध तरीके से प्रदेश के हर क्षेत्र में कनेक्टिविटी और इंफ्रास्ट्रक्चर विकास का महा अभियान शुरू किया। अब 6 लेन के एक्सप्रेस-वे हैं। पूर्वांचल एक्सप्रेस-वे, बुंदेलखंड एक्सप्रेस-वे, गोरखपुर लिंक एक्सप्रेस-वे और अब निर्माण के अंतिम चरण में पहुंच चुका गंगा एक्सप्रेस-वे, ये सभी परियोजनाएं न केवल उत्तर प्रदेश के भौगोलिक स्वरूप को जोड़ रही हैं, बल्कि प्रदेश की अर्थव्यवस्था को भी नई ऊंचाइयों तक पहुंचा रही हैं। ‘एक्सप्रेस-वे राज्य’ के रूप में उत्तर प्रदेश अब देश को दिशा दे रहा है।






